कीट-रोग से बचाएं खीरा
(सभी तस्वीरें- हलधर)इससे प्रदेश में खीरे का उत्पादन और उपभोग लगातार बढ़ रहा हैं। संरक्षित खेती में वैसे कीट-रोग का प्रकोप कम होता हैं। लेकिन, कीट-रोग से होने वाले नुकसान से बचने के लिए किसान को सतर्क रहना जरूरी हैं। आलेख में खीरा उत्पादन की सुरक्षित विधि दी गई हैं।
प्रमुख रोग
मौजेक-मेलाथियॉन 0.1 ग्राम प्रति लीटर पानी में घोल बनाकर 10 दिन के अन्तराल पर 2-3 छिड़काव करें।
मृदुरोमिल- लक्षण दिखने पर मैन्कोजेब 2.5 ग्राम प्रति लीटर पानी में घोल बनाकर छिड़काव करें।
चुर्णिल आसिता- नियत्रंण हेतु केराथेन 0.03 ग्राम प्रति लीटर पानी में घोल बनाकर साप्ताहिक छिड़काव करें।
फल विगलन-फल का भंडारण खुले हवादार स्थान पर करें।
कीट
रेड पम्पकिन बीटल - मैलाथियान 50 ईसी अथवा कार्बोरिल 50 डब्लूपी. 2 ग्राम प्रति लीटर पानी की दर से घोल बनाकर 15 दिन के अन्तराल पर छिड़काव करें।
फल मक्खी- नियन्त्रण हेतु मैलाथियॉन 50 ईसी का 2 ग्राम प्रति लीटर पानी की दर से घोल बनाकर छिड़काव करें।