4 माह में 500 करोड़ का जिंस कारोबार
(सभी तस्वीरें- हलधर)मेड़ता कृषि उपज मंडी
नागौर। प्रदेश की विशिष्ट श्रेणी की मेड़ता कृषि उपज मंडी में पिछले 4 महीने में 500 करोड़ रुपए का जीरा, सौंफ और ईसबगोल बिका है। यानी अप्रैल से जुलाई तक के चार महीने में किसानों को जीरा, सौंफ और ईसबगोल की फसल बेचने से 500 करोड़ रुपए की आय हुई है। अब अगस्त का महीना रबी की ऑफ सीजन के रूप में निकल रहा है, मगर सितंबर से खरीफ सीजन की शुरुआत हो जाएगी। सितंबर के दूसरे पखवाड़े के शुरुआती दिनों में ही मंडी में नया मूंग भी बिकने के लिए पहुंच जाएगा। मंडी सचिव राजेंद्र कुमार रियाड़ के मुताबिक मेड़ता मंडी में 1 अप्रैल से 31 जुलाई तक रबी जिंसों में सबसे ज्यादा मसाला फसल सौंफ की आवक हुई है। बीते चार महीनों में 1 लाख 44 हजार 317 क्विंटल सौंफ मंडी में बिकने पहुंची है, जिससे किसानों को 115.78 करोड़ रुपए की आय हुई है। वहीं 1 लाख 2 हजार 553 क्विंटल जीरा की आवक से किसानों को 254 करोड़ रुपए मिले हैं। इसी तरह 1 लाख 363 क्विंटल ईसबगोल से किसानों को 122 करोड़ रुपए मिले हैं। यानी तीन रबी की जिंसों से ही किसानों को करीब 500 करोड़ रुपए की आय हुई है। इसी तरह 1 लाख 4 हजार 659 क्विंटल सरसों से किसानों को 53 करोड़ रुपए मिले हैं।
जीरे ने किसानों को दी ज्यादा कमाई
मंडी में बीते 4 महीने में सबसे ज्यादा सौंफ की आवक हुई है, मगर किसानों को सबसे ज्यादा कमाई जीरे ने दी है। अप्रेल से जुलाई तक 1.44 लाख क्विंटल सौंफ मेड़ता मंडी में आई, जिससे किसानों को 115.78 करोड़ की आय हुई है। वहीं 1.02 लाख क्विंटल जीरे की आवक से किसानों को 254 करोड़ रुपए मिले हैं।